Articles of indian constitution

Articles of indian constitution, list of Important articles of indian constitution,articles of the constitution, article 15 of indian constitution,all articles of indian constitution,395 articles of indian constitution,article 1 of indian constitution,article 23 of indian constitution,article of indian constitution in hindi,total no of articles in indian constitution, 1949 ईस्वी में संविधान सभा ने जो संविधान पारित किया था उसमें 395 अनुच्छेद थे और यह 22 भागों में विभाजित थे।भारतीय संविधान के अनुच्छेदों के बारे में संक्षिप्त जानकारी और उस पर आधारित विभिन्न प्रश्नोत्तरी

अनुच्छेद 1:
(i) भारत अर्थात इंडिया राज्यों का संघ होगा।
(ii ) राज्य और उनके राज्य क्षेत्र में होंगे जो पहली अनुसूची में विनिर्दिष्ट हैं।
(iii) भारत के राज्य क्षेत्र में आयोजित किए गए अन्य राज्य क्षेत्र समाविष्ट होंगे।

अनुच्छेद 2:
भारत की संसद को विधि द्वारा ऐसे निर्बंध और शर्तों पर जो वह ठीक समझे संघ में नए राज्य का प्रवेश या उसकी स्थापना की शक्ति प्रदान की गई।

अनुच्छेद 3:
नए राज्यों का निर्माण और वर्तमान राज्यों के क्षेत्रों, सीमाओं या नामों में परिवर्तन संसद विधि द्वारा कर सकती है।

अनुच्छेद 1,2,3 पर विधि बनाने का एकमात्र अधिकार संसद के पास है। अनुच्छेद 4 में यह व्यवस्था की गई है कि नए राज्यों का गठन अनुच्छेद 2 के अंतर्गत नए राज्यों के निर्माण, क्षेत्रों, सीमाओं नामों में परिवर्तन अनुच्छेद २ के अंतर्गत को संविधान के अनुच्छेद 368 के अंतर्गत संविधान संशोधन नहीं माना जाएगा। अतः इस तरह के कानून का साधारण बहुमत और साधारण विधाई प्रक्रिया के द्वारा पारित किया जा सकता है।

अनुच्छेद 5 से 11: नागरिकता।

 

.

अनुच्छेद 13:
मौलिक अधिकारों को असंगत या उनका अल्पीकरण करने वाली विधियों के बारे में।

अनुच्छेद 14:
विधि के समक्ष समता- इसका अर्थ यह है कि राज्य सभी व्यक्तियों के लिए एक समान कानून बनाएगा तथा उन पर एक समान लागू करेगा।

अनुच्छेद 15:
धर्म, नस्ल, जाति, लिंग या जन्म स्थान के आधार पर भेदभाव का निषेध- राज्य के द्वारा धर्म, मूलवंश, जाति, लिंग एवं जन्म स्थान आदि के आधार पर नागरिकों के प्रति जीवन के किसी भी क्षेत्र में भेदभाव नहीं किया जाएगा।

अनुच्छेद 16:
लोक नियोजन के विषय में अवसर की समता- राज्य के अधीन किसी पद पर नियोजन या नियुक्ति से संबंधित विषयों में सभी नागरिकों के लिए अवसर की समानता होगी। अपवाद: अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजातियों एवं पिछड़ा वर्ग।

अनुच्छेद 17: 
अस्पृश्यता का अंत- अस्पृश्यता के उन्मूलन के लिए इसे दंडनीय अपराध घोषित किया गया है।

 

अनुच्छेद 18:
उपाधियों का अंत- सेना या विधा संबंधी सम्मान के सिवाय अन्य कोई भी उपाधि राज्य द्वारा प्रदान नहीं की जाएगी। भारत का कोई नागरिक किसी अन्य देश से बिना राष्ट्रपति की आज्ञा के कोई उपाधि स्वीकार नहीं कर सकता है।

अनुच्छेद 19
मूल संविधान में 7 तरह की स्वतंत्रता का उल्लेख था अब सिर्फ 6 है।

19(a)-बोलने की स्वतंत्रता
19(b)-शांतिपूर्वक बिना हथियारों के एकत्रित होने और सभा करने की स्वतंत्रता।
19(c)-संघ बनाने की स्वतंत्रता।
19(d)-देश के किसी भी क्षेत्र में आवागमन की स्वतंत्रता।
19(e)-देश के किसी भी क्षेत्र में निवास करने और बसने की स्वतंत्रता।
19(f)-संपत्ति का अधिकार।           (44 वां संविधान संशोधन 1979 के द्वारा हटा दिया गया। )
19(g)-कोई भी व्यापार एवं जीविका चलाने की स्वतंत्रता।

अनुच्छेद 20:
अपराधों के लिए दोषसिद्धि के संबंध में संरक्षण- इसके तहत तीन प्रकार की स्वतंत्रता का वर्णन है।
i-किसी भी व्यक्ति को एक अपराध के लिए सिर्फ एक बार सजा मिलेगी।
ii-अपराध करने के समय जो कानून है उसी के साथ तहत सजा मिलेगी ना कि पहले और बाद में बनने वाले कानून के तहत।
iii-किसी भी व्यक्ति को स्वयं के विरुद्ध न्यायालय में गवाही देने के लिए बाध्य नहीं किया जाएगा।

अनुच्छेद 21:
प्राण एवं दैहिक स्वतंत्रता का संरक्षण- किसी भी व्यक्ति को विधि द्वारा स्थापित प्रक्रिया के अतिरिक्त उसके जीवन और व्यक्तिक स्वतंत्रता के अधिकार से वंचित नहीं किया जा सकता है।

अनुच्छेद 21 (क): 
शिक्षा का अधिकार- 6 से 14 वर्ष तक के सभी बच्चों को मुफ्त और अनिवार्य शिक्षा का अधिकार।

अनुच्छेद 22:
कुछ दशाओं में गिरफ्तारी और निरोध में संरक्षण- अगर किसी व्यक्ति को मनमाने ढंग से हिरासत में लिया गया हो, तो उसे तीन प्रकार की स्वतंत्रता प्रदान की गई है।
1-हिरासत में लेने का कारण बताना होगा।
2-24 घंटे के अंदर उसे दंडाधिकारी के समक्ष पेश किया जाएगा।
3-उसे अपने पसंद के वकील से सलाह लेने का अधिकार होगा।

अनुच्छेद 23:
मानव के दुर्व्यापार और बलात श्रम का प्रतिषेध- इसके द्वारा किसी व्यक्ति की खरीद-बिक्री, बेगारी तथा इसी प्रकार का अन्य जबरदस्ती लिया हुआ श्रम निषेध ठहराया गया है, जिस का उल्लंघन विधि के अनुसार दंडनीय अपराध है।

अनुच्छेद 24- बालकों के नियोजन का प्रतिषेध।

अनुच्छेद 25- अंतकरण की और धर्म के अवाध रूप से मानने, आचरण और प्रचार करने की स्वतंत्रता।

अनुच्छेद 26- धार्मिक कार्यों के प्रबंध की स्वतंत्रता।

अनुच्छेद 27- राज्य किसी भी व्यक्ति को ऐसे कर देने के लिए बाध्य नहीं कर सकता है जिसकी आय किसी विशेष धर्म अथवा धार्मिक संप्रदाय की उन्नति या पोषण में व्यय करने के लिए विशेष रूप से निश्चित कर दी गई है।

अनुच्छेद 28-
राज्य विधि से पूर्णतः पोषित किसी शिक्षा संस्था में कोई धार्मिक शिक्षा नहीं दी जाएगी। ऐसे शिक्षण संस्थान अपने विद्यार्थियों को किसी धार्मिक अनुष्ठान में भाग लेने या किसी धर्मोपदेश को बलात सुनने हेतु बाध्य नहीं कर सकते।

अनुच्छेद 29- अल्पसंख्यक वर्गों के हितों का संरक्षण।

अनुच्छेद 30- शिक्षा संस्थाओं की स्थापना और प्रशासन करने का अल्पसंख्यक वर्गों का अधिकार।

 

 

 

अनुच्छेद 32- इसके अंतर्गत मौलिक अधिकारों को प्रवर्तित कराने के लिए समुचित कार्रवाई द्वारा उच्चतम न्यायालय में आवेदन करने का अधिकार प्रदान किया गया है।

अनुच्छेद 38-
राज्य लोक कल्याण की अभिवृद्धि के लिए सामाजिक व्यवस्था बनाएगा, जिसमे नागरिकों को सामाजिक आर्थिक एवं राजनीतिक न्याय मिलेगा।

अनुच्छेद 39 (क)
समान न्याय और निशुल्क विधिक सहायता, समान कार्य के लिए समान वेतन की व्यवस्था इसी में है।

अनुच्छेद 39(ख)
सार्वजनिक धन का स्वामित्व तथा नियंत्रण इस प्रकार करना ताकि सार्वजनिक हित का सर्वोत्तम साधन हो सके।

अनुच्छेद 39(ग)- धन का समान वितरण।

अनुच्छेद 40- ग्राम पंचायतों का संगठन

अनुच्छेद 41- कुछ दशाओं में काम, शिक्षा और लोक सहायता पाने का अधिकार।

अनुच्छेद 42- काम की न्याय संगत और मानवोचित दशाओं का तथा प्रसूति सहायता का उपबंध। अनुच्छेद 43- कर्मकारों के लिए निर्वाचन

मजदूरी एवं कुटीर उद्योग का प्रोत्साहन।

अनुच्छेद 44- नागरिकों के लिए एक समान सिविल संहिता।

 

अनुच्छेद 45

राज्य को तब तक सभी बच्चों की शुरुआती देखभाल और शिक्षा की व्यवस्था करने के लिए प्रयास करना होगा जब तक वह छह साल की आयु का नहीं हो जाता है।

अनुच्छेद 46- अनुसूचित जातियों, अनुसूचित जनजातियों और अन्य दुर्बल वर्गों के शिक्षा और अर्थ संबंधी हितों की अभिवृद्धि।

अनुच्छेद 47- पोषाहार स्तर, जीवन स्तर को ऊंचा करने तथा लोक स्वास्थ्य का सुधार करने का राज्य का कर्तव्य।

अनुच्छेद 48- कृषि एवं पशुपालन का संगठन।

अनुच्छेद 48 (क) पर्यावरण का संरक्षण तथा संवर्धन और वन एवं वन्य जीवों की रक्षा।

अनुच्छेद 49- राष्ट्रीय महत्व के स्मारकों, स्थानों और वस्तुओं का संरक्षण।

अनुच्छेद 50- कार्यपालिका एवं न्यायपालिका का पृथक्करण।

अनुच्छेद 51- अंतर्राष्ट्रीय शांति और सुरक्षा की अभिवृद्धि।

अनुच्छेद 51 क - मौलिक कर्तव्य

अनुच्छेद 53  - संघ की कार्यपालिका संबंधी शक्ति राष्ट्रपति में निहित रहेगी।

अनुच्छेद 64 - उपराष्ट्रपति राज्यसभा का पदेन अध्यक्ष होगा।

अनुच्छेद 72- राष्ट्रपति की शक्तियों जैसे: क्षमा देना, सजा का निलंबन, कुछ मामलों में सजा को कम करना आदि का प्रावधान।

अनुच्छेद 74- राष्ट्रपति को सहायता और सलाह देने के लिए मंत्रिपरिषद।

अनुच्छेद 76- भारत के महान्यायवादी

अनुच्छेद 78- राष्ट्रपति को जानकारी देने आदि के लिए प्रधानमंत्री के कर्तव्य।

अनुच्छेद 86- इसके अंतर्गत राष्ट्रपति द्वारा संसद को संबोधित करने तथा संदेश भेजने के अधिकार का उल्लेख है।

अनुच्छेद 108- यदि किसी विधेयक के संबंध में दोनों सदनों में गतिरोध उत्पन्न हो गया हो तो संयुक्त अधिवेशन का प्रावधान है।

अनुच्छेद 110- धन विधेयकों की परिभाषा।

अनुच्छेद 112 - वार्षिक वित्तीय विवरण (बजट) .

अनुच्छेद 123- संसद के मध्यावकाश के दौरान राष्ट्रपति की अध्यादेश प्रख्यापित करने शक्ति।

अनुच्छेद 124- इसके अंतर्गत सर्वोच्च न्यायालय के गठन का वर्णन है।

अनुच्छेद 129- सर्वोच्च न्यायालय एक अभिलेख न्यायालय है।

अनुच्छेद 143- सुप्रीम कोर्ट से परामर्श करने की राष्ट्रपति की शक्ति।

अनुच्छेद 148- भारत के नियंत्रक और महालेखा परीक्षक।

अनुच्छेद 149- भारत के नियंत्रक और महालेखा परीक्षक की शक्तियां।

अनुच्छेद 155- राज्यपाल की नियुक्ति।

अनुच्छेद 161- क्षमा को कम करने, टालने और निलंबित करने की राज्यपाल की शक्ति।

अनुच्छेद 163- राज्यपाल की सहायता और सलाह के लिए मंत्रिपरिषद।

अनुच्छेद 165-राज्य के महाधिवक्ता।

अनुच्छेद 167- राज्यपाल को जानकारी देने के लिए मुख्यमंत्री के कर्तव्य।

अनुच्छेद 168- राज्यों में विधानमंडलों की व्यवस्था।

अनुच्छेद 169- राज्यों में विधान परिषदों की रचना या उन्मूलन।

अनुच्छेद 170- राज्यों में विधान सभाओं की संरचना।

अनुच्छेद 171- राज्यों में विधान परिषदों की संरचना।

अनुच्छेद 172-राज्य विधानमंडलों की अवधि।

अनुच्छेद 173-राज्य विधानमंडल की सदस्यता के लिए योग्यता।

अनुच्छेद 174-राज्य विधायिका का सत्र, सत्रावसान और राज्य विधायिका का विघटन।

अनुच्छेद 178-विधान सभा के स्पीकर और डिप्टी स्पीकर।

अनुच्छेद 194- महाधिवक्ता की शक्तियां, विशेषाधिकार और प्रतिरोधक क्षमता

List of Important articles of indian constitution

अनुच्छेद 200- राज्यपाल द्वारा बिल को स्वीकृति।

अनुच्छेद 202- राज्य विधानमंडल का वार्षिक वित्तीय विवरण (राज्य बजट) .

अनुच्छेद 210-राज्य विधानमंडल में इस्तेमाल की जाने वाली भाषा।

अनुच्छेद 212-न्यायालयों को राज्य विधानमंडल की कार्यवाही के बारे में पूछताछ करने का अधिकार नहीं।

अनुच्छेद 213-राज्य विधायिका के सत्र में नहीं रहने पर राज्यपाल अध्यादेश जारी कर सकता है।

अनुच्छेद 214- सभी राज्यों के लिए उच्च न्यायालय की व्यवस्था होगी।

अनुच्छेद 226 -मूल अधिकारों के प्रवर्तन के लिए उच्च न्यायालय को लेख जारी करने की शक्तियां।

अनुच्छेद 233 - जिला न्यायाधीशों की नियुक्ति राज्यपाल द्वारा उच्च न्यायालय के परामर्श से की जाएगी।

अनुच्छेद 235- उच्च न्यायालय का नियंत्रण अधीनस्थ न्यायालय पर रहेगा।

अनुच्छेद 239 से 241- संघ राज्य क्षेत्र।

अनुच्छेद 243 से 243ण-पंचायतें

अनुच्छेद 243त से 244 यछ- नगरपालिकाएं।

अनुच्छेद 244 तथा 244 क- अनुसूचित और जनजाति क्षेत्र।

अनुच्छेद 245 से 263- संघ एवं राज्यों के बीच संबंध।

अनुच्छेद 264 से 300 क- वित्त, संपत्ति, संविदाएं और वाद।

अनुच्छेद 301 से 307- भारत के राज्यक्षेत्र के भीतर व्यापार, वाणिज्य और समागम।

अनुच्छेद 308 से 323- संघ और राज्यों के अधीन लोक सेवाएं।

अनुच्छेद 323 क से 323 ख - अधिकरण।

अनुच्छेद 324 से 329- निर्वाचन।

अनुच्छेद 330 से 342- कुछ वर्गों के संबंध में विशेष उपबंध।

अनुच्छेद 343 से 351- राजभाषा

अनुच्छेद 350 (क)- प्राथमिक स्तर पर मातृभाषा में शिक्षा देना।

अनुच्छेद 351- हिंदी को प्रोत्साहन देना।

अनुच्छेद 352 से 360- आपात उपबंध।

अनुच्छेद 361 से 367 - प्रकीर्ण।

अनुच्छेद 368- संविधान का संशोधन।

अनुच्छेद 369 से 392- अस्थाई, संक्रमणकालीन और विशेष उपबंध।

अनुच्छेद 393 से 395- संक्षिप्त नाम, प्रारंभ हिंदी में प्राधिकृत पाठ और निरसन।

और अधिक जानकारी के लिए नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक करें....

History Of Indian Constitution भारतीय संविधान का इतिहास 
Prelude To Indian Constitution-भारतीय संविधान की प्रस्तावना 
Different Sources Of Indian Constitution-भारतीय संविधान के विभिन्न स्रोत 
Fundamental Rights Of Indian Constitution-भारतीय संविधान के मौलिक अधिकार
Fundamental Duty Of The Indian Constitution-भारतीय संविधान के मौलिक कर्तव्य 
Schedules Of Indian Constitution-भारतीय संविधान की अनुसूचियां 
Indian Constitution Amendment-भारतीय संविधान संशोधन 
Important Article Of Indian Constitution-भारतीय संविधान के महत्वपूर्ण अनुच्छेद 
Different Parts Of Indian Constitution-भारतीय संविधान के विभिन्न भाग 
Important Quiz Related To Indian Constitution-भारतीय संविधान से संबंधित महत्वपूर्ण प्रश्नोत्तरी